बैठक में श्री गोयल ने राज्य के तीन प्रमुख औद्योगिक गलियारों —
कृष्णापट्टनम (CBIC)
ओर्वाकल (HBIC)
कोप्पर्थी (VCIC) — की प्रगति का जायजा लिया और परियोजनाओं को गति देने के निर्देश दिए।
नवाचार और स्टार्टअप्स होंगे केंद्र में
श्री गोयल ने अधिकारियों से कहा कि प्रत्येक नोड में स्टार्टअप ज़ोन, समर्पित इनक्यूबेटर और नवाचार-अनुकूल इकोसिस्टम तैयार किया जाए ताकि युवा उद्यमियों और निवेशकों को आकर्षित किया जा सके।
“आधुनिक उद्योगों की रीढ़ है नवाचार और स्टार्टअप्स। हमें उन्हें बढ़ावा देने के लिए हर संभव कदम उठाना होगा,” – श्री पीयूष गोयल
देश-विदेश से निवेश लाने पर ज़ोर
मंत्री ने निर्देश दिए कि देश-विशेष निवेश सम्मेलन आयोजित किए जाएं ताकि वैश्विक साझेदारों को आकर्षित किया जा सके। साथ ही, परियोजनाओं की रियल-टाइम मॉनिटरिंग के लिए केंद्रीकृत डैशबोर्ड और गुणवत्ता नियंत्रण तंत्र की व्यवस्था को प्राथमिकता देने की बात कही।
बड़ी निवेश संभावनाएं, बड़े रोजगार के अवसर
तीनों नोड्स की सामूहिक क्षमता:
कृष्णापट्टनम: ₹10,500 करोड़ निवेश, 1 लाख रोजगार
ओर्वाकल: ₹12,000 करोड़ निवेश, 45,000 रोजगार
कोप्पर्थी: ₹8,800 करोड़ निवेश, 54,000 रोजगार
इन नोड्स के ज़रिए राज्य को एक औद्योगिक पावर हाउस में तब्दील करने का खाका तैयार किया जा रहा है।
समीक्षा बैठक में रहे शामिल
इस महत्वपूर्ण बैठक में कई प्रमुख नेता और अधिकारी मौजूद रहे:
डॉ. चंद्रशेखर पेम्मासानी (गुंटूर सांसद एवं केंद्रीय राज्य मंत्री)
श्री टी.जी. भरत (आंध्र प्रदेश उद्योग मंत्री)
डॉ. एन. युवराज (उद्योग सचिव, आंध्र प्रदेश)
श्री रजत कुमार सैनी (सीईओ, एनआईसीडीसी)
श्री अभिषेक किशोर (एमडी, एपीआईआईसी)
“स्वर्ण आंध्र 2047” पर प्रस्तुति
सत्र की शुरुआत एपीआईआईसी एमडी की ओर से विस्तृत प्रस्तुति के साथ हुई, जिसमें सभी तीन नोड्स की स्थिति और योजनाएं रखी गईं। इसके बाद "स्वर्ण आंध्र 2047" औद्योगिक रोडमैप की झलक पेश की गई।
एनआईसीडीसी का विजन: अगली पीढ़ी के स्मार्ट इंडस्ट्रियल सिटीज़
राष्ट्रीय औद्योगिक गलियारा विकास निगम (NICDC) भारत सरकार की वह प्रमुख पहल है, जो देश को औद्योगिक दृष्टिकोण से सशक्त और प्रतिस्पर्धी बनाने के मिशन में जुटी है। यह पहल देश के विभिन्न गलियारों में प्लग-एंड-प्ले इंफ्रास्ट्रक्चर, मल्टीमॉडल कनेक्टिविटी, और सतत शहरी विकास सुनिश्चित कर रही है।