यह साझेदारी 'हीरो फॉर स्टार्टअप्स' कार्यक्रम के अंतर्गत की गई है, जो देश में नवाचार और उद्यमिता को गति देने की दिशा में एक ठोस कदम माना जा रहा है।
किन क्षेत्रों पर रहेगा फोकस?
डीपीआईआईटी और हीरो मोटोकॉर्प संयुक्त रूप से मोबिलिटी, क्लीन टेक्नोलॉजी और डीप टेक्नोलॉजी जैसे भविष्य उन्मुख क्षेत्रों में काम करने वाले स्टार्टअप्स को सहायता प्रदान करेंगे। चयनित स्टार्टअप्स को न केवल हीरो मोटोकॉर्प की भारत और जर्मनी स्थित विश्वस्तरीय R&D सुविधाओं तक विशेष पहुंच मिलेगी, बल्कि कंपनी के डीलर नेटवर्क, सप्लायर्स, इंडस्ट्री एक्सपर्ट्स और इनोवेशन मेंटर्स का लाभ भी मिलेगा।
इसके अलावा स्टार्टअप्स को पेड प्रूफ़ ऑफ कॉन्सेप्ट (PoC) के तहत पायलट प्रोजेक्ट्स पर काम करने का अवसर भी प्राप्त होगा, जिससे उन्हें अपने उत्पादों को बाजार में आज़माने और निखारने का मौका मिलेगा।
वरिष्ठ अधिकारियों ने क्या कहा?
समझौता ज्ञापन पर हस्ताक्षर के मौके पर डीपीआईआईटी के संयुक्त सचिव श्री संजीव ने कहा कि यह साझेदारी भारत की मोबिलिटी से जुड़ी चुनौतियों को सुलझाने वाले उत्पाद-केंद्रित स्टार्टअप्स के लिए एक मजबूत मंच तैयार करेगी। उन्होंने कहा, “हम स्टार्टअप्स को उभरती टेक्नोलॉजी और टियर-2 व 3 शहरों तक प्रभाव पहुंचाने के लिए उद्योग जगत के अनुभवों से जोड़ने की दिशा में कार्य कर रहे हैं।”
हीरो मोटोकॉर्प के कार्यकारी अध्यक्ष डॉ. पवन मुंजाल ने कहा, “हम खुद को सिर्फ एक इंडस्ट्री लीडर नहीं, बल्कि राष्ट्र-निर्माण में योगदान देने वाले भागीदार के रूप में देखते हैं। स्टार्टअप्स आत्मनिर्भर और वैश्विक भारत के निर्माण में महत्वपूर्ण भूमिका निभा सकते हैं, और डीपीआईआईटी के साथ यह साझेदारी उसी दिशा में एक सार्थक प्रयास है।”
समझौता ज्ञापन पर हस्ताक्षर
यह समझौता डीपीआईआईटी के निदेशक डॉ. सुमीत जारंगल और हीरो मोटोकॉर्प के ग्लोबल इनोवेशन पोर्टफोलियो लीड श्री उत्कर्ष मिश्रा द्वारा दोनों संगठनों के वरिष्ठ अधिकारियों की उपस्थिति में संपन्न हुआ।
क्या है भविष्य की दिशा?
इस साझेदारी से मेक इन इंडिया, आत्मनिर्भर भारत और विकसित भारत@2047 जैसे राष्ट्रीय लक्ष्यों को मजबूती मिलने की उम्मीद जताई जा रही है। इनोवेशन आधारित औद्योगिक विकास के लिए यह समझौता एक नई राह खोलने वाला साबित हो सकता है।